पत्रकारिता

“सुप्रीम न्यूज परिवार” पत्रकार राजा मौर्या को “विशेष सम्मान” देगा। सुप्रीम न्यूज से सम्मान पाने वालों में ‘मधु’ के बाद ‘राजा’ दूसरे पत्रकार होंगे ~ संजय भाटी

राजा मौर्या लगातार सुप्रीम न्यूज परिवार के कानून विशेषज्ञों से भारतीय संविधान और कानूनों की जानकारी हासिल कर रहे हैं। बहुत जल्द दी जाएंगी बड़ी जिम्मेदारी।

आज का मुद्दा के पत्रकार “राजा मौर्या” की बेबाक और निष्पक्ष पत्रकारिता हिन्दी भाषी क्षेत्रों में चर्चा का विषय बनी हुई। राजा मौर्या की खबरों को लेकर माफिया, भ्रष्टाचारी और गैरकानूनी गतिविधियों में लिप्त लोग हमेशा खोफजादा रहते हैं। इस सब को देखते हुए राजा मौर्या को सुप्रीम न्यूज परिवार द्वारा प्रोत्साहित किया जा रहा है।

सुप्रीम न्यूज द्वारा पत्रकारों को दिया जाने वाला ये सम्मान एक पत्रकार के लिए पूरी तरह से जरुरी कानूनी और किसी भी तरह की बीमारी, दुर्घटनाओं से बचाव का सुरक्षा कवच है। 

सुप्रीम न्यूज ब्यूरो। दिनांक 10/03/23

गौतमबुद्धनगर। नोएडा। “सुप्रीम न्यूज परिवार” पत्रकार “राजा मौर्या” को विषम परिस्थितियों में जनहितकारी पत्रकारिता करने के साथ-साथ शराब का सेवन न करने, धुम्रपान न करने, खबरों पर बारीकी पकड़ रखने आदि के लिए “विशेष सम्मान” देने पर विचार कर रहा है

 

राजा मौर्य को अपने कानूनी ज्ञान को बढ़ाना होगा

सुप्रीम न्यूज परिवार द्वारा पत्रकारिता के लिए दिये जाने वाले विशेष सम्मान के लिए राजा मौर्य को अपने कानूनी ज्ञान को बढ़ाना होगा। क्योंकि सुप्रीम न्यूज परिवार पत्रकारिता के लिए “भारतीय संविधान” के साथ-साथ, पुलिस एक्ट, सूचना अधिकार अधिनियम 2005 और दण्ड प्रक्रिया संहिता तथा भारतीय दण्ड संहिता आदि के ज्ञान पर विशेष ध्यान देता।

इसके लिए पत्रकार राजा मौर्या को जाति, धर्म और सम्प्रदाय आदि से आगे बढ़कर जनहितों पर काम करना होगा।

सुप्रीम न्यूज परिवार द्वारा अभी तक इस तरह का सम्मान केवल “श्रीमती मधु चमारी” को दिया गया है। जिसके लिए सुप्रीम न्यूज परिवार के संस्थापक श्री अनिल भाटी एडवोकेट पूर्व अध्यक्ष कलेक्ट्रेट बार एसोसिएशन ने श्री संजय भाटी से ह उनकी ढृढ़ता और साहस के लिए उन्हें सम्मानित करने के लिए यह कहते हुए कहा कि ” इस तरह की बहादुर महिला समाज में बहुत कम हैं, वैसे भी समाज के ठेकेदार निजी स्वार्थों के कारण वास्तविक प्रतिभाओं को कुचलने में लगे रहते हैं। हमारी नजर में ये पहली महिला हैं जो पुलिस विभाग के दंश को झेलकर भी उनकी साम, दाम दण्ड भेद और तानाशाही की कार्यवाहियों को झेलकर भी झुकीं नही हैं।”

 

आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश पुलिस के एक अय्याश चौकी प्रभारी, उसके समर्थक और सहयोगी पत्रकारों द्वारा “श्रीमती मधु चमारी” को तरह तरह से प्रताड़ित किया गया था। श्रीमती मधु चमारी ने चौकी प्रभारी की कारगुज़ारियों को तत्कालिक वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री ज्योति नारायण और जांच अधिकारी श्रीमती अलंकृता सिंह (IPS) के सामने रखा। श्रीमती अलंकृता सिंह (IPS) की जांच रिपोर्ट पर तत्कालीन वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री ज्योति नारायण द्वारा चौकी प्रभारी को निलंबित कर अन्य दूरस्थ मंडल वाराणसी में स्थानांतरित किया गया था। जिसके उपरांत चौकी प्रभारी पर अभियोग भी दर्ज किया गया था।

  • दरोगा अपनी अय्याशियों के लिए भर्ती से लेकर पोस्टिंग की हर जगह विभाग में प्रसिद्ध रहा था। दरोगा को विभाग के अधिकारियों का भी बड़ा समर्थन था। क्योंकि अय्याश और नशेड़ियों का गठबंधन हो जाता है।

दरोगा पर कार्रवाई से पुलिस विभाग में खुशी की लहर तो पत्रकारों के मुख्य धड़े में मातम पसर गया था। पत्रकारों के चहेते समाजसेवियों और छद्म महिला सशक्तिकरण संगठनों में भी मातम पसर गया था। सुप्रीम न्यूज परिवार के अलावा गिने चुने पत्रकार श्रीमती मधु चमारी के साथ थे। 

 

मधु चमारी, की सच्चाई के समर्थन में उसकी खबरें प्रकाशित करने वाले पत्रकारों पर सेक्स रैकेटों, गांजा तस्करी और सट्टेबाजी से जुड़े लोगों और महिलाओं से फर्जी शिकायतें दिला कर मुकदमें दर्ज करने का काम किया जा रहा था। जिसका नेतृत्व पत्रकारों का एक बड़ा हिस्सा कर रहा था। 

 

श्रीमती मधु चमारी, की शिकायत पर गौतमबुद्धनगर के पत्रकारों के चहेते चौकी प्रभारी पर कार्रवाई होने से गौतमबुद्धनगर के पत्रकारों को दरोगा से भी बड़ी ठेस पहुंची थी। जबकि इस मामले में पुलिस विभाग के ईमानदार और कर्तव्यनिष्ठ पुलिस अधिकारी और कर्मचारियों द्वारा मधु को भरपूर सपोर्ट किया गया।

इस मामले में दरोगा पर दर्ज एक मामले में समझौते के लिए दबाव बनाने के लिए श्रीमती मधु चमारी व उनके परिजनों पर बहुत से मुकदमें दर्ज किया गये लेकिन श्रीमती मधु चमारी ने झुकना मंजूर नही किया।

सुप्रीम न्यूज परिवार द्वारा सम्मान में क्या दिया जाता है ?

(1) पत्रकारों को दिया जाता है सुप्रीम सुरक्षा कवच 

सुप्रीम न्यूज परिवार द्वारा सम्मान स्वरूप सुप्रीम न्यूज में किसी बड़ी जिम्मेदारी (पत्रकारिता से सम्बंधित पद) के साथ 10 से 25 लाख रुपए तक के टर्म इंश्योरेन्स और 5 से 10 लाख का फुल फैमिली कैशलैस मेडीक्लेम पालिसी आदि सभी सुविधाएं सुप्रीम न्यूज परिवार द्वारा विशेष सम्मान पाने वाले पत्रकारों को लाइफटाइम के लिए दी जाती हैं। ताकि पत्रकार कभी भी असुरक्षित महसूस ना करें।

(2) पत्रकारों को कानूनी सहायता और सुरक्षा कवच

सुप्रीम न्यूज परिवार, की ओर से एक पत्रकार को सबसे महत्वपूर्ण सुविधा सुप्रीम न्यूज परिवार के वकालत की बैकग्राउंड का होने के कारण मिलती है। सुप्रीम न्यूज परिवार में दर्जनों अधिवक्ता हैं। सुप्रीम न्यूज परिवार के अधिवक्ताओं द्वारा पत्रकारों को कानूनी ज्ञान और सहायता भी दी जाती है।

 

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